निक्को और बीएसपी की मनमानी मां और मौसी का खेल बंद करें- नवीन संघर्ष समिति
नारायणपुर। अति नक्सल प्रभावित नारायणपुर जिले के अंजरेल और छोटेडोंगर की पहाड़ियों में लोह अयस्क का खनन का कार्य कर रही निक्को जायसवाल कंपनी और भिलाई इस्पात संयंत्र (बीएसपी)के रावघाट परियोजना के द्वारा स्थानीय ग्रामीणों के साथ भेदभाव कर मां और मौसी का खेल खेला जा रहा है। यह गंभीर आरोप नारायणपुर की जनता के द्वारा लगाया जा रहा हैं। माइंस की वजह से नारायणपुर में चार संगठन में हमेशा विवाद की स्थिति बन रही हैं। छोटेडोंगर में कुछ गांवों के लोगों को मिलाकर स्थानीय समिति बनाकर खनिज खनन का कार्य शुरू कर दिया गया हैं। वहीं अंजरेल में बीएसपी के रावघाट परियोजना के द्वारा खनिज खनन का कार्य किया जा रहा हैं। यहां भी गोद ग्राम के नाम पर ग्रामीणों को आपस में लड़ाने का कार्य किया जा रहा हैं। खनन कंपनी के गोद में बैठे कुछ विशेष गांव तक ही लाभ पहुंचने से अन्य गांव के ग्रामीणो में दिनों दिन आक्रोश बढ़ता जा रहा हैं।
इन्हीं तमाम समस्याओं को लेकर रविवार को नवीन संघर्ष समिति और नारायणपुर परिवहन संघ के पदाधिकारियों के बीच महत्वपूर्ण बैठक हुई। जिसमें माइंस से लेकर ग्राम पंचायतो में मूलभूत सुविधाओं को लेकर चर्चा किया गया। बैठक में तय किया गया कि नारायणपुर जिले के विकास को लेकर दोनों संघ एक मंच में नजर आएंगे। स्थानीय लोगों को रोजगार के साधन उपलब्ध कराने के साथ-साथ गांव के विकास के लिए नवीन संघर्ष समिति के आंदोलन में परिवहन संघ अपनी पूरी सहभागिता निभाएगा। वहीं परिवहन संघ के हर आंदोलन में नवीन संघर्ष समिति के लोग बढ़-कर कर हिस्सा लेकर उनके आंदोलन का पूरा समर्थन करेंगे। इस दौरान नवीन संघर्ष समिति के जिला अध्यक्ष प्रशांत यदु के द्वारा परिवहन संघ के अध्यक्ष किशोर आर्य, उपाध्यक्ष रमेश जैन और सचिव रुपेश देवांगन से आग्रह किया गया कि परिवहन संघ में गांव के अंतिम छोर में बसे ग्रामीणों को प्राथमिकता दी जाए। इस पर परिवहन संघ के अध्यक्ष किशोर आर्य ने हामी भरते हुए कहा कि नारायणपुर परिवहन संघ जिले के सभी ग्रामीणों का अपना संघ है। जो लोग परिवहन संघ से जुड़ना चाहते हैं वह सदस्यता लेने के लिए परिवहन संघ में आवेदन कर दें जिन्हें सदस्यता दी जाएगी। इसके बाद तय किया गया हैं की निक्को कंपनी और बीएसपी के द्वारा खनिज निधि से जो कार्य किए जा रहे हैं उन कार्यों में सभी ग्राम पंचायतों को जरूरत के हिसाब से प्राथमिकता मिलनी चाहिए। शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार के दिशा में आपसी समन्वय बनाकर काम करने की बात पर जोर दिया गया। नवीन संघर्ष समिति द्वारा नव 11 गोद ग्रामों से 10 – 10 बेरोजगार युवाओं की सूची बनाई गई है, जिसे अग्रिम कार्यवाही हेतु बीएसपी और जिला प्रशासन को दिया जायेगा।