जिला नारायणपुर- माड़ संदेश की खबर
नारायणपुर, छत्तीसगढ़ राज्य का धुर नक्सल प्रभावित जिलों में से एक है,इस जिले को कुदरत ने भी अनेकों नेमतों से नवाजा है जहां एक ओर साल,सगोंन के घने जंगल हैं तो दूसरी ओर सुरंमय पहाड़ियां जो अनेकों खनिज संपदाओं को अपने गर्भ में समेटे हुए हैं और यही माओवादियों की शरणस्थली हैं।
इन पहाड़ों और जंगलों के चलते ही आज तक अबुझमाड़ क्षेत्र की पहेली को कोई भी हल नहीं कर पाया है जिसका फायदा नक्सली संगठन उठाते हुए अपना जंगल राज चलाने में पुरी तरह से सफल हो रहे हैं,विदित हो कि पुर्व में छत्तीसगढ़ राज्य के विधानसभा चुनावों के बीच भी भाजपा नेता रतन दुबे की सरे बाजार हत्या कर अपनी उपस्थिति दर्ज कराई थी, हाल ही में लोकसभा चुनाव के मध्य उपसरपंच बीजेपी नेता पंचम दास मानिकपुरी की धारदार हथियार से हत्या कि गयी तथा फिर से एक बार लोकसभा चुनावों के ठीक मतदान के दिन जबकि पुरे क्षेत्र में चप्पे-चप्पे पर प्रशासन ने अर्धसैनिक बलों को सुरक्षा के मद्देनजर तैनात किए हुआ हैं उसके बावजूद माओवादी अपनी मनमानी करते हुए फरमान जारी कर रहे हैं कि उनके वर्चस्व को चुनौती देने की हिमाकत करने वाले अंजरेल खदानों के ठेकेदारों,व राजनैतिक दलों के ज़मीन कार्यकर्ताओं को मौत की सजा जन अदालत के माध्यम से दी जाएगी,चाहे वो भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से जुड़े बिसल नाग,अमित भद्र हो या भारतीय जनता पार्टी के प्रकाश शर्मा, संजय तिवारी,शांतनु दुग्गा, गुलाब बघेल, माइंस के परिवहन संघ पदाधिकारिओं अथवा दलाली करने वाले ही क्यों न हो सभी का हश्र सागर साहु और रतन दुबे की तरह से ही होने वाली है ट्रक मालिक एवं ड्राइवर को ट्रक नही चलाने की अंतिम चेतावनी का उल्लेख करते हुए नक्सलीयों ने अपने पर्चे द्वारा आगाह किया गया है।